कुछ फ़र्क़ नही पड़ता उन्हें
कि तुम्हारे घर मे ए सी विंडो है या स्प्लिट
या कि तुम्हारे ड्रेसिंग टेबल पर
किस ब्रांड की परफ्यूम है
तुम्हारे कुत्ते (जिसे तुम अपने बेटे से भी ज़्यादा प्यार करते हो )
के गले में पड़ा पट्टा
कहाँ से इम्पोर्ट किया है तुमने
तुम्हारे आलिशान बंगले के बाहर की
वो इबारत
"कुत्तों से सावधान" ?
से उनकी पेशानी पर नही पड़ता कोई बल
उन्हें तो इस बात से नही पड़ता की तुम्हारी
पत्नी या बेटी के शरीर का ज़्यादातर हिस्सा
खुला क्यों है !
जबकि तुम संपन्न हो
उन हिस्सों को पूरी तरह से महफूज़ रखने में !
उनकी चिंताएं -
तो बस इतनी सी हैं
कि आज रात का चूल्हा जलेगा भी या नही !
कि किसके हिस्से में आएँगी
कि मुन्नी की झीनी हो चली चुन्नी को कैसे बदलें
जबकि तुम जैसों की बेधतीं नज़र उसको हर रोज़
अधूरा करती जाती है !
कि इस बार जब बरसेगा भादो
तो टूटी चारपाई किस कोने में -
बिना भींगे बिछ जाएगी !
कि तुम्हारे घर मे ए सी विंडो है या स्प्लिट
या कि तुम्हारे ड्रेसिंग टेबल पर
किस ब्रांड की परफ्यूम है
तुम्हारे कुत्ते (जिसे तुम अपने बेटे से भी ज़्यादा प्यार करते हो )
के गले में पड़ा पट्टा
कहाँ से इम्पोर्ट किया है तुमने
तुम्हारे आलिशान बंगले के बाहर की
वो इबारत
"कुत्तों से सावधान" ?
से उनकी पेशानी पर नही पड़ता कोई बल
उन्हें तो इस बात से नही पड़ता की तुम्हारी
पत्नी या बेटी के शरीर का ज़्यादातर हिस्सा
खुला क्यों है !
जबकि तुम संपन्न हो
उन हिस्सों को पूरी तरह से महफूज़ रखने में !
उनकी चिंताएं -
तो बस इतनी सी हैं
कि आज रात का चूल्हा जलेगा भी या नही !
कि किसके हिस्से में आएँगी
कि मुन्नी की झीनी हो चली चुन्नी को कैसे बदलें
जबकि तुम जैसों की बेधतीं नज़र उसको हर रोज़
अधूरा करती जाती है !
कि इस बार जब बरसेगा भादो
तो टूटी चारपाई किस कोने में -
बिना भींगे बिछ जाएगी !